उत्तराखंड छात्रसंघ चुनाव: मतदान शांतिपूर्ण, पर हल्द्वानी में विवादों की छाया

उत्तराखंड के सभी विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में शनिवार, 27 सितंबर को छात्रसंघ चुनाव के लिए मतदान संपन्न हुआ। मतदान सुबह 8 बजे से दोपहर 2 बजे तक चला। हालांकि, कई कॉलेजों में छात्रों के गुटों के बीच हल्की झड़पें और विवाद की घटनाएं भी सामने आईं। इसके बावजूद अधिकांश जगहों पर मतदान प्रक्रिया शांतिपूर्ण तरीके से पूरी की गई। सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर कॉलेज परिसरों में भारी पुलिस बल की तैनाती की गई थी।
कुमाऊं के सबसे बड़े महाविद्यालय, हल्द्वानी स्थित एमबीपीजी कॉलेज में चुनावी माहौल उस वक्त तनावपूर्ण हो गया, जब जुलूस के दौरान एबीवीपी कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच टकराव हो गया। बताया गया कि नैनीताल रोड पर जुलूस निकालते समय एबीवीपी और एनएसयूआई समर्थकों के बीच तीखी बहस और धक्का-मुक्की हो गई। इसी दौरान एक पुलिसकर्मी को हल्की चोट लगने की भी खबर है।
स्थिति को बिगड़ता देख पुलिस ने तुरंत मोर्चा संभालते हुए दोनों पक्षों को अलग किया और माहौल को शांत किया। कॉलेज प्रशासन और पुलिस अधिकारियों ने छात्रों से अपील की है कि वे चुनाव प्रक्रिया को शांतिपूर्ण और मर्यादित तरीके से पूर्ण करें।
एमबीपीजी कॉलेज में 13,978 छात्र मतदाता पंजीकृत हैं। मतदान की शुरुआत होते ही फर्जी वोटिंग का मामला सामने आया। एनएसयूआई के अध्यक्ष पद के प्रत्याशी कमल बोरा की शिकायत पर कॉलेज प्रशासन ने जांच की, जिसमें एक छात्र का आई-कार्ड फर्जी पाया गया। तुरंत कार्रवाई करते हुए प्रशासन ने आरोपी को पुलिस के हवाले कर दिया।
इसके बाद प्रशासन ने सभी मतदाताओं के आई-कार्ड की स्कैनिंग और सख्त सत्यापन प्रक्रिया शुरू कर दी है ताकि निष्पक्षता बनी रहे। कॉलेज प्रशासन का कहना है कि चुनाव को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के लिए निगरानी और सुरक्षा व्यवस्था को और कड़ा किया गया है।
एनएसयूआई प्रत्याशी कमल बोरा ने चेतावनी दी है कि यदि चुनाव में धांधली की कोशिश हुई तो वे आमरण अनशन पर बैठेंगे। सिटी मजिस्ट्रेट गोपाल चौहान ने कहा कि सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं और किसी भी तरह की गड़बड़ी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
